Hanuman Jayanti पर PM मोदी ने क्या कहा? दोस्तों आज 23 अप्रैल है और आज पुरे विश्व में श्री हनुमान जी के जन्मोत्सव का भव्य कार्यकर्म किया जा रहा है और इसी बिच में हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने एक ट्वीट के माध्यम से अपने विचार व्यक्त किये है अब आपको भी यह जानने की इच्छा हो रही होगी की आखिर Hanuman Jayanti पर PM मोदी ने क्या कहा? तो चलिए आपको बताते है
देशभर के मेरे परिवारजनों को हनुमान जयंती की असीम शुभकामनाएं। पवनपुत्र का समर्पण भाव समस्त रामभक्तों के लिए सदैव प्रेरणाशक्ति बना रहेगा। उनकी कृपा से विकसित भारत के संकल्प को नई ऊर्जा मिले, यही कामना है। जय बजरंगबली ! pic.twitter.com/O4VnQhLfOh
— Narendra Modi (@narendramodi) April 23, 2024
Hanuman Jayanti पर PM मोदी ने क्या कहा?
हमारे देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने हनुमान जयंती के इस शुभ अवसर पर सभी देशवासियों से कहा कि देश भर के मेरे परिजनों को हनुमान जयंती की असीम शुभकामनाएं। पवनपुत्र का समर्पण भाव समस्त राम भक्तों के लिए सदैव प्रेरणा शाली बना रहेगा। उनकी कृपा से विकसित भारत के संकल्प को नई ऊर्जा मिले यही कामना है।जय बजरंगबली, जय श्रीराम।
और हमारे प्रधानमंत्री ने कहा कि हनुमान जी के बिना न तो राम होते और न ही रामायण बनती। हनुमान जी अपनी भक्ति से।और अपनी सेवा भाव से सबको जोड़ते है इस संसार में हर मनुष्य हनुमान जी से प्रेरणा पाता है
सो सब तब प्रताप रघु राय।
नाथ न कछु मौरी प्रभुताई।
इसका मतलब उन्होंने अपने हर काम, अपनी हर सफलता का श्रेय हमेशा उन्होंने प्रभु राम को दिया उन्होंने कभी ये नहीं कहा कि मेरे कारण हुआ है जो कुछ भी हुआ है प्रभु राम के कारण हुआ है
Hanuman Jayanti पर PM मोदी ने क्या कहा?
हनुमान जी वो शक्ति और संभल हैं जिन्होंने समस्त वनवासी प्रजातियां और वनबंधु और सम्मान का अधिकार दिया है इस शुभ अवसर पर में आप सब को श्री हनुमान जी के जन्मदिन की हार्दिक शुबकामनाएं देता हु और श्री हनुमान जी के श्री चरणों में प्रणाम करता हूँ जय श्री राम
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हनुमान जी का जन्म स्थान कहाँ है?
दोस्तों यह सभी जानना चाहते हैं कि हनुमान जी का जन्म कहा हुआ था लेकिन क्या आप लोग ये जानते है की उनको केसरी नंदन क्यों कहा जाता है या उनको आंजनेय को क्यों कहा जाता है? दोस्तों हम आपको बताते हैं। दरअसल दोस्तों हनुमान जी की माता जी का नाम अनजा है इसीलिए उनको आंजनेय भी कहा जाता है।और दोस्त तो हनुमान जी के पिताजी का नाम केसरी है इसलिए उनको केसरी नंदन के नाम से भी जाना जाता है।अब सवाल यह उठता है कि यह कभी क्षेत्र कहाँ स्थित है?
The birth place of Hanuman Ji.🙏
— Lost Temples™ (@LostTemple7) April 23, 2024
The mesmerising Anjeyanadri Hill
Jai shree Ram 🙏🚩 pic.twitter.com/2JQIB8lH9y
जानें, कैसे हुआ रुद्रावतार हनुमान जी का जन्म और कौन हैं इनके माता-पिता
हनुमान जी के जन्म को लेकर कई किदवंती है। इनमें एक कथा बेहद लोकप्रिय है
सनातन शास्त्रों में हनुमान जी के जन्म को लेकर कई कथाये है। इनमें एक कथा बेहद लोकप्रिय है। एक बार की बात है जब स्वर्ग में दुर्वासा द्वारा आयोजित सभा में स्वर्ग के राजा इंद्र भी उपस्थित थे। उस समय पुंजिकस्थली नामक अप्सरा ने बिना किसी प्रयोजन के सभा में दखल देकर उपस्थित देवगणों का ध्यान भटकाने की कोशिश की। इससे क्रुद्ध होकर ऋषि दुर्वासा ने पुंजिकस्थली को बंदरिया बनने का श्राप दे दिया। यह सुन पुंजिकस्थली रोने लगी।
तब ऋषि दुर्वासा ने कहा कि अगले जन्म में तुम्हारी शादी बंदरों के देवता से होगी। साथ ही पुत्र भी बंदर प्राप्त होगा। अगले जन्म में माता अंजनी की शादी बंदर भगवान केसरी से हुई। कालांतर में माता अंजनी के घर हनुमान जी का जन्म हुआ।
एक अन्य कथा है कि राजा दशरथ ने संतान प्राप्ति के लिए यज्ञ करवाया था। इस यज्ञ से प्राप्त हवि को खाकर राजा दशरथ की पत्नियां गर्भवती हुई। इस हवि के कुछ अंश को एक गरुड़ लेकर उड़ गया और उस जगह पर गिरा दिया। जहां माता अंजना पुत्र प्राप्ति के लिए तप कर रही थी। माता अंजनी ने हवि को स्वीकार कर ग्रहण किया। इस हवि से माता अंजनी गर्भवती हो गई। कालांतर में माता अंजनी के गर्भ से हनुमान जी का जन्म हुआ। यह माना जाता है
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